सीखने को रोक नहीं सकते - सुरेश सिंह नेगी

कोविड -१९ के इस दौर में जंहा लोग घर के अंदर रहने को मजबूर हैं, वंही दूसरी ओर कुछ लोग ऐंसे भी हैं जो
घर पर ही बैठकर ऑनलाइन काम कर रहे हैं।  जो  इंसान  पहले  फोन का उपयोग बहुत कम करता था।  वह भी अब इसका उपयोग ज्यादा से ज्यादा करने लगा है,  और करे भी क्यों न काम ऑनलाइन जो करना पड़ता है, या फिर समय व्यतीत करने  के लिए कुछ न कुछ तो करना ही है।

जंहा विद्यालय विद्यार्थीयों   को   ऑनलाइन पढाने  का भरपूर प्रयास कर  रहें है।   वंही   माता -पिता भी अपने बच्चों का पूरा साथ दे रहें है।  उनमें  से कुछ माता -पिता तो ऐंसे  भी हैं, जिन्होंने अपने बच्चों की ऑनलाइन पढ़ाई सुचारू रूप से जारी रहने  के लिए  बाजार  के बंद  होने के बावजूद  भी स्मार्ट फोन  खरीदा है।  इस समय की मार सबसे ज्यादा विद्यालय प्रबंधन, शिक्षक और अभिभावक  पर पडी है ।  अब तो ज्यादातर शिक्षकों का  फ़ोन  भी रुक -रुक चलने   लगा है और वह दिन भर इतना गर्म रहता है, कि लगता है की कभी भी फट सकता है।

हालांकि इसके विपरीत अच्छी बात यह है कि हमें तकनीकी  के क्षेत्र  में काफी कुछ नया सीखने को मिला  है। जिसमे से गूगल कक्षा में अपने फोन की स्क्रीन कैसे दूसरों से शेयर करतें हैं। ऑनलाइन पढ़ाई तो हमने  बहुत देखी थी पर ऑनलाइन कैंसे पढ़ाया जाता है यह भी हमने इसी समय सीखा है।

अंत में मै उन विद्यालय प्रबंधन, शिक्षकों और अभिभावकों का शुक्रिया अदा करना चाहता हूँ, जिन्होंने विपरीत परिस्थितियों में और कम  संसाधनों के चलते  अपने  बच्चों  की पढ़ाई के प्रति एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। 

सुरेश सिंह नेगी
The Fabindia School 

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